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भगवान शिव जी के भोले और दयालु है उतने ही क्रोधित भी है इसीलिए उनकी पूजा में कई बातों का ध्यान रखना होता है |भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए शिवलिंग पर भांग, धतूरा, दूध, चंदन, फल, और भस्म में चढ़ाई जाती है | जिससे शिवजी प्रसन्न हो जाते हैं | परंतु कई वस्तुएं ऐसी भी है भगवान शिव को नहीं चढ़ती है | और यदि गलती से भी भगवान शिव वो वस्तुएं चल गई तो भगवान शिव को क्रोधित हो जाते हैं और कुछ पूजा को पूर्ण नहीं माना जाता इसलिए उसका फल भी नहीं मिलता है और उसको को अशुभ माना जाता है |
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तिल- ऐसा कहा जाता है कि भगवान शिव को तिल नहीं चढ़ाना चाहिए इसके पीछे लोगों का कहना है कि तिल भगवान विष्णु के मेल से बना है इसलिए इसको शिवजी के शिवलिंग पर नहीं चढ़ाया जाता और इसको शिवजी की पूजा में भी प्रयोग नहीं किया जाता |
नारियल- भगवान शिव को नारियल भी नहीं चढ़ता है और ना हीं नारियल का पानी भगवान शिव को चढ़ता है क्योकि नारियल को माँ लक्ष्मी का प्रतिक माना जाता है और माता लक्ष्मी भगवान विष्णु की पत्नी है | इसलिए भगवान शिव को नारियल नहीं चढ़ता है और ना हीं नारियल का पानी चढ़ता है |
सिंदूर- भारत में महिलाएं सुहागिन होने का प्रतीक सिंदूर लगाती है ऐसा कहा जाता है कि भगवान शिव को सिंदूर नहीं चढ़ता क्योंकि भगवान शिव बैरागी और विनाशक थे इसलिए भगवान शिव के शिवलिंग पर सिंदूर अर्पित नहीं करना चाहिए |
तुलसी- शिवलिंग पर तुलसी के पत्ते अर्पित नहीं करते हैं क्योंकि तुलसी को भगवान विष्णु की पत्नी कहा जाता है इसलिए तुलसी शिवलिंग पर अर्पित नहीं की जाती है |
शंख- भगवान शिव की पूजा में शंख का प्रयोग नहीं होता और ना ही शंख से पानी डाला जाता है उनकी शिवलिंग पर क्योंकि शंखचूड़ नाम का एक असूर था | जिसका वध भगवान शिव जी ने किया था और भाई विष्णु भक्त था। इस के लिए भगवान शिव की पूजा में शंख का प्रयोग नहीं किया जाता है |
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केतकी के फूल - भगवान शिव की पूजा में केतकी के फूलों का प्रयोग नहीं किया जाता | पौराणिक कथा में ऐसा बोला जाता है कि केतकी एक बार झूठ बोल दिया था जिससे क्रोधित होकर भगवान शिव ने उन्हें श्राप दिया था ना तो कभी केतकी की पूजा होगी और ना ही उन्हें किसी पूजा में शामिल किया जाएगा इसीलिए आज तक केतकी की फूलों का प्रयोग भगवान शिव की पूजा में नहीं होता है |
टूटे हुए चावल - भगवान शिव की किसी भी अन्य भगवान की पूजा में टूटे हुए चावल का प्रयोग नहीं होता पूजा में टूटे हुए चावलों को अशुद्ध माना जाता है इसीलिए भगवान शिव की शिवलिंग पर टूटे हुए चावलों को नहीं चढ़ाना चाहिए |
हल्दी- भगवान शिव की पूजा में कभी भी हल्दी का प्रयोग नहीं होता है | क्योंकि भगवान शिव पुरुष है और हल्दी स्त्रियों का प्रतीक है इसीलिए ऐसा कहा जाता है भगवान शिव के शिवलिंग पर यदि आप हल्दी चढ़ाते हैं जब पूजा में हल्दी का प्रयोग करते हैं आपकी पूजा पूर्ण नहीं मानी जाएगी और उसका फल भी नहीं मिलेगा |
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