कब पड़ेगा दुखों को दूर और पापों से मुक्ति दिलाने वाला कामिका एकादशी का व्रत, जानें इसकी पूजा विधि,नियम और लाभ
हिंदू धर्म में एकादशी व्रत का बहुत महत्व है। 12 महीने में लगभग चौबीस एकादशी होते है। सभी का अपना अपना अलग महत्व होता है। श्रवण मास की कृष्ण एकादशी में कामिका एकादशी व्रत पड़ता है।कामिका एकादशी में भगवान विष्णु की विधिवत पूजा करने से मनवांछित फल मिलता है।प्रत्येक माह के कृष्ण पक्ष और शुक्ल पक्ष में पड़ने वाले एकादशी व्रत भगवान विष्णु को समर्पित है। इसमें भगवान विष्णु की पूजा अर्चना की जाती है।
प्रत्येक महीने में दो बार एकादशी व्रत पड़ता है।सबका अपना अलग अलग महत्व है। पौराणिक कथाओं के अनुसार महाभारत के समय भीष्म पितामह ने नारद जी को कामिका एकादशी व्रत की कथा सुनाई थी। पीतामह भीष्म ने नारद जी से कहा की जी व्यक्ति कामिका एकादशी व्रत करता है उसे गंगा स्नान के फल से भी अधिक पुण्य मिलता है। इसलिए कामिका एकादशी व्रत किया जाता है। इस व्रत को करने से सभी कष्टों से मुक्ति मिलती है।
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कामिका एकादशी व्रत का शुभ मुहूर्त
कामिका एकादशी का व्रत इस साल 24 जुलाई,दिन रविवार 2022 को रखा जाएगा। पंचांग के अनुसार कामिका एकादशी 23 जुलाई,शनिवार 2022 को सुबह 11:27 से शुरू होकर 24 जुलाई 2022 को दोपहर 1:45 बजे तक रहेगा। कामिका एकादशी व्रत का पारण 25 जुलाई सोमवार 2022 को सुबह 5:38 से 8:22 बजे के बीच होगा। इसी बीच में पारण करना होता है।
कैसे रखें कामिका एकादशी व्रत
व्रत कोई भी हो सबको करने के अपने नियम होते है। व्रत के अपने विधि होते है।वैसे कामिका एकादशी व्रत भगवान विष्णु को समर्पित है। मनचाहा फल प्राप्त करने के लिए व्यक्ति कामिका एकादशी व्रत करते है। जिस दिन कामिका एकादशी व्रत रहना है इस दिन तो चावल खाने की मनाही तो है ही, लेकिन व्रत करने से एक दिन पहले चावल ना खाएं। कामिका एकादशी के दिन अगर सक्षम है तो गंगा स्नान करें।
अगर गंगा स्नान नहीं हो पा रहा है तो आप अपने नहाने वाले पानी में गंगा जल मिल कर स्नान कर ले। स्नान करने के बाद सूर्य देव को अर्घ्य देते हुए उनसे प्रार्थना करें। इसके बाद अपने कमाना को लेकर व्रत करने का संकल्प ले । भगवान विष्णु को गंगा जल से स्नान करवाकर उन्हें पीले रंग का वस्त्र पहनाएं। उसके बाद पीले रंग का आसानी बिछाकर विष्णु जी को स्थान दे।उन्हें पुष्प, फल, और मीठा में पीला फलहारी बनाकर भोग लगाएं साथ ही तुलसी दल का भोग लगाना ना भूले। फिर भगवान विष्णु से अपने कमाना व्रत के उद्देश्य के लिए प्रार्थना करें। साथ ही माता लक्ष्मी की विधि विधान से पूजा करें। ये सब करने के बाद भगवान विष्णु के सामने घी का दीपक जलाएं। फिर माता लक्ष्मी और भगवान विष्णु का नमन करें।
कामिका एकादशी व्रत का धार्मिक महत्व
कामिका एकादशी व्रत में भगवान नारायण की पूजा की जाती है। कामिका एकादशी व्रत को करने से सभी कष्टों से छुटकारा साथ ही सच्चे मन से व्रत करने से मनोवांछित फल प्राप्त होता है।मान्यता है की कामिका एकादशी व्रत को करने से व्यक्ति को वायजेय यज्ञ के समान पुण्य फल की प्राप्ति होती है।साथ ही कामिका एकादशी व्रत करने से व्यक्ति को भूमिदान के बराबर फल मिलता है। इसमें भगवान विष्णु का विधि विधान से पूजा अर्चना की जाती जाती है। जिसकी जो कमाना होती
है वो भी पूरी होती है।
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साल 2022 में कब-कब पड़ेगी एकादशी
08 अगस्त 2022, सोमवार श्रावण पुत्रदा एकादशी है।
23 अगस्त 2022, मंगलवार अजा एकादशी है।
6 सितंबर 2022, मंगलवार परिवर्तिनी एकादशी है।
21 सितंबर 2022, बुधवार इन्दिरा एकादशी है।
6 अक्तूबर 2022, गुरुवार पापांकुशा एकादशी है।
21 अक्तूबर 2022, शुक्रवार रमा एकादशी है।
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