खास बातें
Effect of Moon : आपकी कुंडली में चंद्रमा कैसे डाल सकता है अपना असर जानें इसका रहस्य
वैदिक ज्योतिष में चंद्रमा को तेज चलने वाला ग्रह माना जाता है, जिससे व्यक्ति पर पड़ने वाले प्रभावों को बेहतर रुप से जाना जा सकता है। चंद्रमा, ग्रहों की रानी, हमारी भावनाओं को स्थिर रखने में सहायक है और उन्हें नजरअंदाज करने की कला में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
Effect of Moon : आपकी कुंडली में चंद्रमा कैसे डाल सकता है अपना असर जानें इसका रहस्य
वैदिक ज्योतिष में सभी ग्रहों में तेज चलने वाला ग्रह चंद्रमा को माना गया है और इसी कारण इसके द्वारा ही व्यक्ति पर पड़ने वाले प्रभावों को बेहतर रुप से जाना जाता है. जहां नव ग्रहों में सूर्य को राजा कहा गया है तो चंद्रमा को ग्रहों की रानी कहा जाता है. ज्योतिष में चंद्रमा की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है क्योंकि हमारी भावनाएं दूसरों के साथ स्थिर संबंध बनाए रखने में मदद करती हैं और चंद्रमा उनका शासक है.
moon qualities astrology चंद्रमा का असर भावनाओं और मनोदशा पर अधिक होता है. मन पर चंद्रमा का ही अधिकार माना गया है. चंद्रमा ज्योतिष में मानसिक और भावनात्मक शक्ति का प्रतिनिधित्व करता है. ज्योतिष में चंद्रमा की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है यह इच्छाओं भाव्नाओं को कंट्रोल करने के साथ उन्हें अनियंत्रत भी कर सकता है. चंद्रमा की स्थिति का क्या होगा कुंडली के हर भाव पर असर चलिये जानते हैं. वैसे तो चंद्रमा सहित सभी ग्रह आपकी जन्म कुंडली के स्थान में स्थित होकर अपना असर दिखाते हैं लेकिन चंद्रमा की स्थिति कुछ अलग ही होती है.
मोक्षदा एकादशी पर सोई हुई किस्मत जगाने का समय -लक्ष्मी नारायण मंदिर, दिल्ली : 22 से 23 दिसंबर -2023
विभिन्न भावों में चंद्रमा का प्रभाव significance of moon in vedic astrology
कुंडली में चंद्रमा का हर भाव का अपना अलग अलग फल मिलता है. चंद्रमा कुछ भावों में शुभ फल देता है तो कुछ भावों में अशुभ फल देता है. कुछ स्थानों में बहुत शक्तिशाली हो सकता है तो कुछ में कमजोर हो सकता है. आइये जानते हैं चंद्रमा के भाव फलों को विस्तार से.
प्रथम घर में चंद्रमा
प्रथम भाव में चंद्रमा का होना व्यक्ति को भावुक बनाता है. यह व्यक्तित्व को बहुत प्रभावित करता है. व्यक्ति विभिन्न स्थानों की यात्रा कर सकता हैं . दूसरों के लिए सहायक तथा प्रसन्नचित होता है.
दूसरे घर में चंद्रमा
व्यक्ति अपनी भावनात्मक सुरक्षा सुनिश्चित करने वाला होता है. फिजूलखर्ची अधिक कर सकता है. बाधाओं से पार पाने में सफल रहता है. कमाई और खर्चों में उतार-चढ़ाव कोई आश्चर्य की बात नहीं है.
तीसरे घर में चंद्रमा
व्यक्ति रचनात्मकता और आत्म-अभिव्यक्ति से जुड़े क्षेत्रों में आगे रह सकता है. भावनाओं को साझा करने में आगे रहता है. अपने दिल और दिमाग की सारी बातें साझा करने में भी कोई आपत्ति नहीं है. नई चीज़ें सीखना और नए विषयों पर चर्चा करना भी पसंद करता है.
चतुर्थ घर में चंद्रमा
माता से अत्यधिक लगाव रहेगा. आपके लिए परिवार सबसे पहले आता है. भावनाओं से अत्यधिक असंतुलित हैं. साथ ही, कठिन समय में आप घर पर रहना पसंद करते हैं.
पंचम घर में चंद्रमा
व्यत्कि दयालु होता है और दूसरों के हित को अपने दिल में रखता है. दूसरों के लिए कुछ करना खुश और संतुष्ट रखना भाता है. भावनाओं पर काबू नहीं रख पाते हैं, इसलिए आप नाटकीय होते हैं.
छठे घर में चंद्रमा
आपको संतुष्टि महसूस नहीं होती है. तनाव महसूस करने की संभावना अधिक होती है. स्वास्थ्य की चिंता अधिक रह सकती है.
अनुभवी ज्योतिषाचार्यों द्वारा पाएं जीवन से जुड़ी विभिन्न परेशानियों का सटीक निवारण
सातवें घर में चंद्रमा
यहां पर चंद्रमा की भावनाएं आपके रिश्तों के साथ घुलमिल जाती हैं. दृढ़ संकल्प और सरलता से स्वभाव भरा होता है. अपने करीबी लोगों के प्रति देखभाल करने वाला रवैया रखते हैं.
आठवें घर में चंद्रमा
यह ज्योतिष में चंद्रमा के लिए अनुकूल स्थिति नहीं है और अलगाव का कारण बन सकता है. लेकिन प्रतिकूलताओं और कठिन समय से लड़ने के लिए पर्याप्त शक्ति भी देत है.
नौवें घर में चंद्रमा
धर्म और दर्शनशास्त्र की ओर लगाव होता है. दुनिया के बारे में जानने के इच्छुक होते हैं भाषाएँ सीखने और विभिन्न संस्कृतियों के बारे में जानने की रुचि होती है.
दसवें घर में चंद्रमा
कार्य क्षेत्र में लोगों से सराहना मिलती है. चंद्रमा की स्थिति आपको सार्वजनिक रूप से चमकने के लिए आवश्यक अधिकार प्रदान करेगी.
ग्यारहवें घर में चंद्रमा
जीवन में आपकी ऊँची उम्मीदें आपको बड़ा सोचने और बड़ा बनने में मदद करती है. आपके मूड में बदलाव जल्दी होता है. इससे आपके कार्यों को करने में कठिनाई हो सकती है.
बारहवें घर में चंद्रमा
संवेदनशील अधिक होते हैं, सहानुभूति भी भरपूर होती है.स्वास्थ्य पर अधिक ध्यान देने की आवश्यकता होती है. यात्राएं जल से संबंधित स्थानों की होती हैं.