02:32 PM, 28-Aug-2023
सोमवार के दिन हो रहा है राहु केतु का नक्षत्र परिवर्तन
आज के दिन से राहु केतु का नक्षत्र चरण बदलाव होगा. राशि अश्विनी नक्षत्र के पहले चरण में होंगे और राहु चित्र नक्षत्र के तीसरे चरण में होंगे. अत: ऎसे में सोमवार के दिन शिव पूजन से राहु केतु का यह बदलाव शुभ प्रभाव देने वाला होगा. ज्योतिष शास्त्र में राहु और केतु ग्रह को अशुभ ग्रह माना गया है. ज्योतिष के मुताबिक, राहु-केतु ग्रह करियर जीवन के साथ-साथ व्यक्तिगत जीवन, प्रेम जीवन, वैवाहिक जीवन, शिक्षा की स्थिति और स्वास्थ्य पर असर डालता है. वैदिक ज्योतिष में केतु और राहु की स्थिति हमेशा समसप्तक मानी जाती है. राहु और केतु एक राशि में करीब डेढ़ वर्ष तक विराजमान रहते हैं. तो अब इनका नक्षत्र चरण बदलाव गहरे असर दिखाएगा जिससे बचव हेतु आज शिव पूजन करना शुभ दायक होगा.
01:41 PM, 28-Aug-2023
सोम प्रदोष से दूर होता है कुंडली में चंद्र दोष
ज्योतिष अनुसार चंद्रमा मन का कारक है. चंद्रमा के कमजोर होने से मन अशांत रहता है. साथ ही किसी भी काम में रुचि नहीं रहती है. इसलिए चंद्रमा का मजबूत होना जरूरी है. कुंडली में मौजूद चंद्र दोष को दूर करने के लिए सोमवार के दिन प्रदोष व्रत पर पूजा द्वारा यह दोष शांत होता है. इसका कारण है कि सोमवार का दिन भगवान शिव को समर्पित है. इस दिन भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा करने से व्यक्ति की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं. इसके साथ ही सोमवार के दिन चंद्र देव की पूजा भी की जाती है. सोमवार के दिन शिव पार्वती परिवार सहित चंद्र देव की पूजा करने से न केवल चंद्र दोष दूर होता है, बल्कि चंद्रमा भी मजबूत होता है.
01:14 PM, 28-Aug-2023
सोम प्रदोष व्रत पूजा विधि
सोम प्रदोष के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करना चाहिए. फिर शिवलिंग पर जलाभिषेक करना चाहिए. प्रदोष पूजा का समय शाम के लिए विशिष्ट होता है. अत: इस दिन शाम को सूर्यास्त के बाद प्रदोष काल में शिव परिवार की विधि-विधान से पूजा करनी चाहिए. दूध, दही, गंगाजल, शहद से भगवान का अभिषेक करना चाहिए. शिवलिंग पर बेलपत्र, भांग, धतूरा, जरूर चढ़ाने चाहिए.इस दिन श्रद्धा के अनुसार शिव स्त्रोत या शिव अष्ट स्त्रोत का पाठ करना शुभ होता है. इस दिन सोम प्रदोष होने के कारण शाम के समय चंद्र देव का पूजन भी अवश्य करना चाहिए.
12:57 PM, 28-Aug-2023
सावन का प्रदोष व्रत हर प्रकार के कष्टों को दूर कर देने वाला होता है. वैसे तो माह की दोनों त्रयोदशी तिथियों को प्रदोष को रखा जाता है. इस बार सावन शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि 28 अगस्त, सोमवार को शाम 06.48 बजे से शुरू होगी और 29 अगस्त, मंगलवार को दोपहर 02.47 बजे तक रहेगी. इस कारण सोमवर के दिन ही प्रदोष व्रत की पूजा प्रदोष काल में करना सबसे अच्छा माना जाएगा. प्रदोष व्रत की पूजा का शुभ समय 28 अगस्त को शाम 06: 48 मिनट से रात 09 बजकर 02 मिनट तक रहने वाली है. इस समय पूजा करने से व्रत का पूरा फल मिलता है.
12:10 PM, 28-Aug-2023
सावन सोमवार व्रत के दिन ही होगा सोम प्रदोष व्रत
पूजा नियमों से मिलता है व्रत का शुभ फल - सुबह जल्दी उठकर पवित्र स्नान करने के बाद पूजा का नियम शुरु करना चाहिए.भगवान शिव का जलाभिषेक कर व्रत का संकल्प लेना चाहिए. माता पार्वती और नंदी को भी गंगा जल या दूध अर्पित करते हुए पूजा करनी चाहिए.इस दिन पंचामृत से अभिषेक करते हुए और शिवलिंग पर बेलपत्र चढ़ाना चाहिए.शिवलिंग पर आज के दिन धतूरा, भांग, चंदन का लेप, चावल आदि अर्पित करने चाहिए.भगवान शिव और माता पार्वती और गणेश जी को तिलक लगाकर पूजा करें.आखिर में 'ओम नमः शिवाय' मंत्र का जाप करें और आरती करें.
11:36 AM, 28-Aug-2023
सावन का आखिरी सोमवार व्रत मनाया जाएगा शुभ योगों में
आयुष्मान योग: सूर्योदय से प्रातः 8:27 बजे तक रहने वाला है
सौभाग्य योग: सुबह 8:27 बजे से शाम 5:51 बजे तक रहने वाला है
सर्वार्थ सिद्धि योग: रात्रि 1:01 बजे से 1:01 बजे तक रहने वाला है
रवि योग: रात्रि 1:01 बजे से 1:01 बजे तक रहने वाला है
10:44 AM, 28-Aug-2023
सावन सोमवार पंचांग मुहूर्त
हिंदू पंचांग के मुताबिक, 28 अगस्त 2023 को सावन के शुक्ल पक्ष की द्वादशी तिथि का समय 18:23 तक रहने वाला है. इसी दिन पंचांग के अनुसार, सुबह मुहूर्त: प्रातः 9:09 बजे से दोपहर 12:23 बजे तक होगा. पूजा के लिए यह समय उत्तम रहने वाला है. आज के दिन ही प्रदोष पूजा भी करने का शुभ समय मिलेगा. प्रदोष पूजा के लिए मुहूर्त शाम 6:48 बजे से रात 9:02 बजे तक रहने वाला है.
10:09 AM, 28-Aug-2023
सावन का आठवां सोमवार 2023 LIVE Updates : सावन का आठवां सोमवार प्रदोष के साथ होगा संपन्न मिलेगा रुद्राभिषेक का
सावन के पवित्र महीने का आखिरी सोमवार आज मनाया जा रहा है. भगवान शिव के इस प्रिय माह में सोमवार का दिन बहुत बहुत ही शुभ काम कर रहा है. इस दिन कई शुभ संयोग भी निर्मित हो रहे हैं जिनमें पूजा करने का एवं रुद्राभिषेक का लाभ आज भक्तों को विशेष रुप से मिलेगा. सावन के प्रत्येक सोमवार को शिव भक्त बड़ी संख्या में आज के दिन व्रत उपवास का पालन करते हैं. भगवान भोले पर जलाभिषेक किया जाता है. इस दिन रुद्राभिषेक करने से कष्ट दूर होते हैं. आज के दिन भगवान भोलेनाथ की पूजा अर्चना की जाती है तो भगवान शिव की कृपा हमेशा बनी रहती है.