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Home ›   Blogs Hindi ›   Vaikuntha Chaturdashi: On the day of Vaikuntha Chaturdashi one attains salvation by worshiping Shri Vishnu.

Vaikuntha Chaturdashi : वैकुण्ठ चतुर्दशी  के दिन श्री विष्णु पूजन द्वारा मिलता है मोक्ष

Acharya RajRani Updated 22 Nov 2023 02:47 PM IST
Vaikuntha Chaturdashi
Vaikuntha Chaturdashi - फोटो : my jyotish
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कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की वैकुंठ चतुर्दशी के रुप में पूजी जाती है. इस शुभ दिन, भगवान विष्णु के भक्त विष्णु का पूजन करते हैं तथा उनके नामों का जाप करते हैं भगवान को कमल अर्पित किए जाते हैं. इस दिन को विष्णु भक्तों द्वारा कार्तिक माह के स्नान दान कार्यों को भी किया जाता है. इस दिन किय अजाने वाला जप तप स्नान के द्वारा वैकुंठ की प्राप्ति होती है. भगवान विष्णु को गहरी निद्रा से जगाने के लिए इस दिन को ऋषिकेश में गंगा तट पर दीप दान महोत्सव के रूप में मनाया जाता है. शाम के समय पवित्र गंगा नदी में दीपक जलाये जाते हैं. इसके साथ कई सांस्कृतिक त्यौहार भी आते हैं.

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वैकुण्ठ चतुर्दशी मुहूर्त पूजा 2023
वैकुण्ठ चतुर्दशी तिथि का आरंभ 25 नवंबर 2023 शाम 05:22 बजे पर होगा और चतुर्दशी तिथि समाप्त होगी 26 नवंबर 2023 को दोपहर 15:53 पर समाप्त होगि. ऎसे में शनिवार के दिन 25 नवंबर विष्णु पूजा का अनुष्ठान किया जाएगा तथा गले दिन व्रत का पारण होगा. कुछ स्थानों पर इस दिन को भगवान विष्णु को सुदर्शन चक्र प्राप्त होने का समय भी जाना जाता है. 
इसके अलावा उत्तराखंड के श्रीनगर के कमलेश्वर मंदिर में इस दिन को सिद्धि का प्रतीक मानते हुए भक्त हर साल इस उत्सव के दिन मंदिर के दर्शनों हेतु आते हैं. संतान प्राप्ति की कामना से यहां विशेष पूजा अर्चना ध्यान साधना भी करते हैं. इस शुभ दिन को भक्त प्रभु के दर्शन और मोक्ष की इच्छा लेकर मनाते हैं. 
 
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वैकुण्ठ चतुर्दशी पूजा महत्व 
वैकुण्ठ चतुर्दशी पूजा का महत्व धर्म ग्रंथों में मिलता है. कथाओं के अनुसार इस शुभ दिन का संबंध नारद एवं विष्णु भगवान के वार्तालाप से प्राप्त होता है. कथा के अनुसार एक बार नारदजी वैकुण्ठ में भगवान विष्णु के पास गये. विष्णुजी ने नादरजी से आने का कारण पूछा. नारदजी ने कहा, हे प्रभु, पृथ्वी के लोग आपको कृपा करुणा के अवतार मानते हैं, लेकिन इसके माध्यम से वे केवल आपके प्रिय भक्त का विशिष्ट स्थान प्राप्त करते हैं अत: कृपया मुझे कोई ऐसा उपाय बताएं जिससे सामान्य स्त्री-पुरुष भी आपकी कृपा के पात्र बन सकें.'' इस पर भगवान विष्णु ने कहा, 'हे नारद! कार्तिक शुक्ल चतुर्दशी को जो नर-नारी व्रत रखकर भक्तिपूर्वक मेरी पूजा करेंगे, उन्हें स्वर्ग की प्राप्ति होगी. माना जाता है कि कार्तिक शुक्ल चतुर्दशी के दिन स्वर्ग के दरवाजे खुल जाते हैं इसी कारण से इस दिन किया जाने वाला पूजन भक्तों को वैकुंठ धाम की प्राप्ति करा देता है.
 
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