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Home ›   Blogs Hindi ›   Shraddh Paksha 2023: Seventh day of Pind Daan and Tarpan, know the special Shraddha places of the country

Shraddh Paksha 2023: पिंडदान और तर्पण का सातवां दिन जानें देश के विशेष श्राद्ध स्थान

my jyotish expert Updated 05 Oct 2023 12:48 PM IST
Shraddh 2023
Shraddh 2023 - फोटो : my jyotish
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सातवें दिन श्राद्ध का समय उन लोगों के लिए होता है जिनकी तिथि सप्तमी होती है. इस तिथि पर किया जाने वाला श्राद्ध कर्म पितरों को शांति प्रदान करता है. श्राद्ध का समय पर पितरों की शांति एवं उनके प्रति प्रेम को अभिव्यक्त करने का यह श्रेष्ठ समय माना गया है. देश भर में इस समय पर विशेष धार्मिक पूजा पाठ पितरों के निमित्त किए जाते हैं. बिहार के गया जी हो या फिर गंगा घाट के स्थान हरिद्वार नासिक उज्जैन सभी स्थानों को पिंडदान या तर्पण के लिए सर्वोत्तम स्थान माना गया है. ऐये जानें सप्तमी तिथि के पूजन का समय एवं देश भर के प्रमुख श्राद्ध स्थानों के बारे में. 

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सप्तमी तिथि श्राद्ध पूजन महत्व 
भाद्रपद मास की पूर्णिमा से ही श्राद्ध, तर्पण और पिंडदान का कार्य प्रारंभ हो जाता है.  श्राद्ध, पिंडदान और तर्पण ये सभी कुछ पितरों की शांति हेतु किए जाते हैं. इन्हें करने के तरीके भी अलग-अलग हैं. ज्योतिष एवं धर्म में पितरों के प्रति श्रद्धापूर्वक किये गये मोक्ष के अनुष्ठान को श्राद्ध कहा जाता है. इस दिन तर्पण में तिल मिश्रित जल अर्पित करने से पितर, देवता और ऋषि तृप्त होते हैं. इसी के साथ इस दिन पिंडदान में पितरों को मोक्ष प्राप्ति का मार्ग प्राप्त होता है.  सप्तमी तिथि का प्रारम्भ 5 अक्टूबर 2023 को 05:41 सुबह होगा इस सप्तमी तिथि का समापन 06 अक्टूबर 2023 को सुबह 06:34 बजे होगा. सप्तमी श्राद्ध के लिए कुतुप मूहूर्त 11:46 से 12:33 तक रहेग ऐसके बाद रौहिण मूहूर्त का समय 12:33 से 01:20 तक रहने वाला है. अपराह्न काल का सम 13:20 से 15:42 तक का होगा. माना जाता है कि इन कार्यों से पित्तर प्रसन्न होकर अपने वंश को फलने फुलने का आशीर्वाद प्रदान करते हैं. 

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श्राद्ध कर्म से जुड़े पवित्र स्थान 
देश में कई और पवित्र स्थान हैं जहां पिंडदान और तर्पण किया जाता है. भाद्रपद मास की पूर्णिमा से श्राद्ध, तर्पण और पिंडदान का कार्य आरंभ हो जाता है. उत्तर प्रदेश के काशी क्षेत्र में इसका विशेष समय होता है. वाराणासी का धार्मिक नाम काशी है,  जिसे मोक्ष की नगरी भी कहा जाता है.  इसके साथ बिहार के गया जी को पिंडदान या तर्पण के लिए सर्वोत्तम स्थान बताया गया है. इस तरह देश में कई और पवित्र स्थान हैं जहां पिंडदान और तर्पण किया जाता है.
 
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