इस दिन माघ मास की शुक्ल पक्ष की शाम तक त्रयोदशी लग रही है। गुरुवार और पुष्य नक्षत्र से बनने वाला यह संयोग कई अन्य शुभ योग भी अपने साथ लेकर आ रहा है।
इस दिन चंद्रमा अपनी ही राशि कर्क में रहने वाले हैं। सूर्य कुंभ राशि पर रहेगा। गण्डमूल नक्षत्र के कारण इस दिन का महत्व और बढ़ रहा है। साथ ही इस दिन सर्वार्थ सिद्धि और अमृत सिद्धि योग भी बन रहे हैंI इस दिन रवि योग के साथ अमृत योग भी रहेगा।
वैसे तो गोचर में चंद्रमा का राशि के चौथे, आठवें एवं 12वें भाव में उपस्थित होना अशुभ माना जाता है। परंतु यह पुष्य नक्षत्र की ही अनुकंपा है जो अशुभ घड़ी को भी शुभ घड़ी में परिवर्तित कर देती है।
एक दिन में इन सभी दुर्लभ योगों का एक साथ आना किसी वरदान से कम नहीं है। शास्त्रों के अनुसार इस दिन किया गया कोई भी शुभ कार्य का फल कई जन्मों तक मिलता है।
25 फरवरी के शुभ योग मुहूर्त:
गुरु पुष्य योग-
सुबह 06 बजकर 16 मिनट से प्रारंभ होकर दोपहर 01 बजकर 17 मिनट तक रहेगा।
सर्वार्थ सिद्धि और अमृत सिद्धि योग-
सुबह 06 बजकर 16 मिनट से प्रारंभ होकर दोपहर 01 बजकर 17 मिनट तक रहेगा।
रवि योग-
दोपहर 01 बजकर 17 मिनट से प्रारंभ होगा और अगली सुबह 06 बजकर 49 मिनट तक रहेगा।
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अमृत काल-
सुबह 06 बजकर 19 मिनट से प्रारंभ होगा और 08 बजकर 29 मिनट तक रहेगाI
वेद मंत्र- ॐ बृहस्पते अतियदर्यौ अर्हाद दुमद्विभाति क्रतमज्जनेषुI यददीदयच्छवस ऋतप्रजात तदस्मासु द्रविण धेहि चित्रम।
पुष्य नक्षत्र का नाम मंत्र- ॐ पुष्याय नम:।
नक्षत्र देवता के नाम का मंत्र: ॐ बृहस्पतये नम:।
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