आज हम जानेगें मंगलवार की व्रत कथा: हिन्दू धर्म में किसी भी देवता की कभी भी पूजा की जा सकती है ∣ किन्तु हफ्तों के सातों दिन किसी न किसी देवता के होतें है ∣ जिनकी उस दिन पूजा करने से विशेष फल की प्राप्ति होती है ∣
उनमें से एक दिन मंगलवार का है ∣ जिस दिन उपवास करने से व्रती का जीवन मंगलमयी हो जाता है ∣ जैसा की आप सब अवगत है ∣ कि ये दिन हनुमान जी का ह़ोता है ∣ ऐसी मान्यता है जो भी मंगलवार का व्रत रखता है और बजरंगबली को प्रसन्न करता है हनुमान जी की कृपा से उसे मनोवांछित फल की प्राप्ति होती है ∣ साथ ही व्यक्ति सभी तरह के संकट से मुक्त हो जाता है ∣
मंगलवार की व्रत कथा: Mangalvar Vrat Katha in Hindi
मंगलवार व्रत कथा एक नि : संतान ब्राह्यण दम्पति थे जो काफी दुखी रहा करते थे कि उनके कोई संतान नहीं थी ∣ एक दिन ब्राह्मणसंतान की तीव्र लालसा लिए वन को चले गए ∣ और अपनी पत्नी को कहा कि वो हनुमान जी को प्रसन्न करने जा रहे हैं जिससे उन्हें पुत्र रत्न की प्राप्ति हो ∣ वन में पहुंचकर तपस्या करने लगे घर पर उसकी पत्नी भी मंगलवार का व्रत रखने लगी और हर मंगलवार को हनुमान जी को भोग लगाती ∣ एक बार ब्राह्मणी भोजन न बना पायी और भोग न लगा पाई तो उसने प्रण लिया कि अगले मंगलवार आने तक वो भुखी रहेगी पूरे छ: दिन भूखे रहने के कारण ब्राह्मणी बहुत कमजोर हो गयी और चक्कर खाकर गिर गयी ∣ तब भगवान हनुमान जी ने उस स्त्री को दर्शन देकर पुत्र रत्न की प्राप्ति का आशीर्वाद दिया जो कि उसकी सेवा करेगा और फिर उसे बालक दे दिया उस स्त्री ने उस बालक का नाम मंगल रखा ∣
अधिक जानने के लिए हमारे ज्योतिषियों से संपर्क करें
कुछ समय बीत जाने के बाद ब्राह्मण घर आया तो उसने बालक को देख पूछा ये कौन है? पत्नी की बातों को छल पूर्ण जान ब्राह्मण ने सोचा कि उसकी पत्नी व्यभिचारिणी है ∣ एक दिन मौका देख ब्राह्मण ने बालक को कुंए में गिरा दिया, और घर पर पत्नी के पूछने पर ब्राह्मण घबराया ∣ पीछे से मंगल मुस्कुरा कर आ गया. ब्राह्मण आश्चर्यचकित रह गया ∣ रात को हनुमानजी ने उसे सपने में सब कथा बतायी, तो ब्राह्मण अति हर्षित हुआ ∣ फ़िर वह दम्पति मंगल का व्रत रखकर आनंद का जीवन व्यतीत करने लगे ∣
ये व्रत कथा भी पढ़े -
Somvar Vrat Katha | Mangalvar Vrat Katha |
Budhwar Vrat Katha | Brihaspativar Vrat Katha |
Shukravar Vrat Katha | Shanivar Vrat Katha |
Ravivar Vrat Katha |