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गणेश जी को सुख, आनंद और समृद्धि का देवता माना जाता है, वहीं हम अक्सर इसे घर में सही जगह पर रखते हैं और इनके महत्व को याद करते हैं। गणपति की मूर्ति को रक्षक माना जाता है और यही कारण है कि हम अपने जीवन में कुछ नया शुरू करने से पहले हमेशा उनकी पूजा करते हैं।पुराणों में कहा गया है कि हमें श्वेत गणपति की पूजा करनी चाहिए। इससे जीवन में भौतिक सुख एवं समृद्धि का प्रवाह होता है। गणेश जी के शरीर का हर हिस्सा किसी न किसी ग्रह के दोष को दूर करता है। गणपति की हर रुप का एक अलग महत्व है, क्योंकि देवी देवता में सबसे अनोखा रुप किसी देव का है तो वो गणपति का ही है, गणेशपति जी कि उपासना से अलग अलग वर्दान पाए जा सकते हैं। हममें से ज्यादातर लोग गणेश की मूर्तियों को घर पर रखते हैं, बिना यह जाने कि इसे कहां और कैसे रखा जाए। अपने जीवन से सभी बाधाओं को दूर करने और धन और अच्छे स्वास्थ्य को आकर्षित करने के लिए, कुछ सरल वास्तु नियमों का पालन करना चाहिए। वास्तुदोषों का निवारण श्री गणेश की पूजा से ही हो जाता है। श्री गणेश की आराधना के बिना वास्तु देवता को संतुष्ट नहीं किया जा सकता। बिना तोड़-फोड़ अगर वास्तु दोष को दूर करना चाहते हैं तो इन्हें आजमाइए।
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