यह बात तो सभी जानते हैं यह पूरे साल में कुल 24 एकादशी आती है जो हर महीने में दो दो हिस्सों में बैठी हुई हैं। सभी एकादशी की तिथियां भगवान विष्णु को समर्पित होती हैं इसलिए हर एकादशी को भगवान विष्णु की विधि विधान से पूजा करके उनके आशीर्वाद को पाकर धन्य हुआ जा सकता है। अगस्त के माह में भी दो एकादशी आने वाली हैं, जिन के महत्व के बारे में हम आज अच्छे से जानेंगे और समझेंगे। अगस्त के महीने में दो एकादशी जिसमें पहली है कामिका एकादशी और दूसरी है पुत्रदा एकादशी, मनाई जाएंगी। कामिका एकादशी को उनके भक्तों के सभी पापों को नष्ट करने में सक्षम माना जाता है और पुत्रदा एकादशी को संतान देने वाला व्रत माना जाता है। इस एकादशी का व्रत रखने से उसके धारकों को संतान की प्राप्ति होती है। कामिका एकादशी सावन मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी को पड़ती है जो इस साल 4 अगस्त को मनाई जाएगी। ऐसी मान्यता है की कमी का एकादशी के दिन भगवान विष्णु की आराधना करने से हर व्यक्ति के पाप नष्ट हो जाते हैं और उसकी सारी इच्छाएं पूरी हो जाती हैं। पुराने ग्रंथों में कामिका एकादशी को बहुत ही महत्वपूर्ण माना गया है क्योंकि इस देश की कथा सुनने से आपको अच्छा फल प्राप्त होता है।
इस माह में 2 एकादशी मनाई जाएंगी जिनका नाम है कामिका एकादशी और पुत्रदा एकादशी। इन दोनों ही एकादशी का अपना-अपना महत्व है इसलिए आइए जानते हैं इस महीने इन दोनों एकादशी के मुहूर्त और महत्व के बारे में।
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