इस दिन भाई द्वारा बहन को शगुन के तौर पर उपहार भी मिलता है. पर इस बात का जरूर ध्यान रखें कि राखी बांधने से पहले अच्छे समय का देखना बहुत जरूरी है, ताकि अच्छे समय के साथ भाई और बहन का रिश्ता और मजबूत हो जाए. डाउनलोड कर दो दो से 2 कार हैं जिन्हें बहुत अशुभ माना जाता है जैसे भद्रा काल और राहु काल इन दोनों का लोग को बहुत अशुभ माना जाता है और इनका ध्यान रखना बहुत जरूरी है तुझे आगे जानते हैं शुभ मुहूर्त के बारे में और राखी बांधने की विधि भी.
इस बार गजकेसरी योग में बंधेगी राखी, 474 सालों बाद बन रहा है ऐसा विशेष संयोग
रक्षाबंधन राखी बांधने का शुभ मुहूर्त
इस बार रक्षाबंधन का दिन बहुत ही शुभ माना गया है क्योंकि इस दिन बहुत से शुभ योग बन रहे हैं. 22 अगस्त को 10:34 तक रहने वाला है शुभ मुहूर्त अगर आप इस समय मैं अपने भाई की कलाई में राखी बांधते हैं तो वह बहुत ही अच्छा माना जाएगा और उसी तरह शाम को 7:40 तक. प्रोग्राम बात करें शाम की तो शाम को 6:06 से लेकर 7:40 तक इस समय को छोड़कर सहारा समय पर सरकार और राहु काल का होने वाला है तो गलती से भी इस समय में ना बांधे.
रक्षाबंधन राखी बांधने का अशुभ समय
सुबह 6:16 से शुरू होगा भद्राकाल तो इस बात का ध्यान रखें कि हड़ताल में बिल्कुल भी यह तो हार ना बनाएं और अपने भाई के हाथ में राखी बिल्कुल ना बांधे. क्योंकि भद्राकाल ऐसा काल है जो बना बनाया काम भी बिगाड़ देता है इसीलिए इस काल को बहुत अशुभ माना जाता है. भद्रा काल को इतना अशोक इसीलिए कहा जाता है क्योंकि रावण ने त्रेता युग युग में अपनी बहन से भद्र काल में ही राखी बनवाई थी जिसका परिणाम यह निकला कि कुछ दिनों बाद उसका सर्वनाश हो गया था. इसीलिए तब से कोई भी बहन अपने भाई को भद्र काल में राखी नहीं बांधती. और अगर हम बात करें राहुकाल की तो 5:05 मिनट से लेकर 6:00 बज के 06:39 मिनट तक चलने वाला है राहुकाल और ऐसा कहा जाता है कि राहुकाल में जो भी काम करते हैं वह कभी भी सफल नहीं हो पाता है इसीलिए कोई भी काम राहु काल में नहीं करा जाता है.
रक्षाबंधन थाली ऐसे तैयार करी जाती है
सबसे पहले एक साफ खाली लें और उसमें थोड़ा सा कुमकुम राखी और उसमें दीपक को जलाकर मिठाई के साथ रख ले उसके बाद अपने भाई के माथे पर तिलक लगाएं तिलक लगाते ही अपने भाई की आरती उतारे. उसके बाद अपने भाई के दाहिने हाथ पर राखी बांधने और बांधने के बाद उसकी फिर से आरती उतारे और अपने भाई को मिठाई खिलाएं. अगर वह आपका छोटा भाई है तो उसे आशीर्वाद दें और अगर आपका बड़ा भाई है तो उसे आशीर्वाद ले. और उसके बाद भाई अपने बहन को शगुन के तौर पर एक तोहफा देता है और इसी तरह रक्षाबंधन का त्यौहार मनाया जाता है.
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