myjyotish

6386786122

   whatsapp

6386786122

Whatsup
  • Login

  • Cart

  • wallet

    Wallet

विज्ञापन
विज्ञापन
Home ›   Blogs Hindi ›   Radha ashtami facts significance

जानिए राधा जन्मोत्सव पर्व (राधा अष्टमी) से जुड़ी ये ज़रूरी बातें

ज्योतिषाचार्य राज रानी Updated 14 Sep 2021 05:47 PM IST
radha ashtami
radha ashtami - फोटो : google
विज्ञापन
विज्ञापन
राधा अष्टमी है राधा जन्मोत्सव का पर्व 

भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की अष्टमी को राधा जी के जन्मोत्सव के रुप में मनाया जाता है. जहां कृष्ण जी का जन्म भादो माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी का है वहीं राधा जी शुक्ल पक्ष की अष्टमी से संबंध रखती हैं. राधा अष्टमी का पर्व मथुरा वृंदावन, बरसाना क्षेत्रों में बहुत ही धूम धाम के साथ मनाया जाता रहा है. इस शुभ दिन समस्त भक्त बरसाना की पहाड़ियों पर स्थित गहावर वन की यात्रा करते हैं और इस यात्रा को अत्यंत ही पावन माना गया है. भक्त लोग श्रद्धा एवं भक्ति के साथ राधा जी के निमित्त व्रत एवं कठोर उपवास भी रखते हैं. भादो माह के इस दिन में बरसाना में बहुत भारी संख्या में भक्त दर्शनों के लिए आते हैं. राधा अष्टमी पर राधे राधे की गूंज सारा दिन सुनाई देती है. इस शुभ दिवस पर कई पारंपरिक कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं. भागवत कथा धार्मिक भजन और कीर्तन भी सुना जाता है. राधा जी के पूजन द्वारा सभी जन्मों के पापों का शमन हो जाता है. राधा जी द्वारा सभी दुखों का नाश होता है. जीवन सुखमय एवं भक्ति से परिपूर्ण होता है.

विवाह को लेकर हो रही है चिंता ? जानें आपकी लव मैरिज होगी या अरेंज, बस एक फ़ोन कॉल पर - अभी बात करें FREE

राधा जन्म पौराणिक कथा


राधा अष्टमी कथा देवी राधा के जन्म से जुड़ी है, ग्रंथों के अनुसार राधा जी का जन्म वृषभानु जी की पुत्री के रूप में हुआ था. उनकी माता का नाम कीर्ति था. पद्म पुराण के अनुसार राधा जी को राजा वृषभानु की पुत्री कहा गया है. कथाओं में मिलता है की वृषभानु ने राधाजी को तब प्राप्त किया जब वे यज्ञ के आयोजन के लिए फर्श की सफाई कर रहे होते हैं. वृषभानु ने राधाजी को अपनी बेटी माना और उनका पालन पोषण किया. जब भगवान विष्णु ने पृथ्वी पर कृष्ण के रूप में जन्म लेने से पहले लक्ष्मी जी को अवतार के रूप में पृथ्वी पर आने के लिए कहा था। इसलिए, देवी लक्ष्मी जो भगवान विष्णु की पत्नी हैं, वह राधाजी के रूप में पृथ्वी पर अवतरित होती हैं. 

राधा अष्टमी पूजा विधान 

राधा अष्टमी के दिन व्रत रखा जाता है, राधाजी की मूर्ति की पंचामृत से स्नान करवाया जाता है. इसके बाद मूर्ति को सजाया जाता है. घर में व्यक्ति अपने सामर्थ्य अनुसार सोने, चांदी, धातु, मिट्टी इत्यादि से बनी मूर्ति की स्थापना कर सकते हैं.  राधाजी की मूर्ति की पूजा पूरी श्रद्धा और समर्पण के साथ की जाती है. धूप और दीप से आरती की जाती है. उन्हें प्रसाद भी चढ़ाया जाता है.  कई  शास्त्रों के अनुसार इस दिन भगवान कृष्ण के साथ राधाजी की पूजा करने का विधान भी बताया गया है. 

इस दिन किसी मंदिर में 27 अलग-अलग पेड़ों के पत्ते और 27 अलग-अलग कुओं से पानी इकट्ठा करने का भी विधान है जो पूजा में स्नान हेतु उपयोग में लाया जाता है. दूध, दही, घी और शक्कर से पंचामृत बना कर मूर्तियों को स्नान कराया जाता है इसके पश्चात सुंदर वस्त्र एवं आभूषणों से प्रतिमा को सजाया जाता है. उसके बाद पूजा का आयोजन करना चाहिए. राधाजी की पूजा करते समय श्यामा श्याम का जाप भी करना चाहिए. पुराण के अनुसार इस दिन व्रत करने वाला व्यक्ति ब्रज से जुड़े सभी रहस्यों का ज्ञान प्राप्त करने में सक्षम होता है. ऐसा व्यक्ति सभी पापों से मुक्त होता है.

इस पितृ पक्ष, 15 दिवसीय शक्ति समय में गया में अर्पित करें नित्य तर्पण, पितरों के आशीर्वाद से बदलेगी किस्मत : 20 सितम्बर - 6 अक्टूबर 2021
इस पितृ पक्ष गया में कराएं श्राद्ध पूजा, मिलेगी पितृ दोषों से मुक्ति : 20 सितम्बर - 6 अक्टूबर 2021
सर्वपितृ अमावस्या को गया में अर्पित करें अपने समस्त पितरों को तर्पण, होंगे सभी पूर्वज एक साथ प्रसन्न -6 अक्टूबर 2021
  • 100% Authentic
  • Payment Protection
  • Privacy Protection
  • Help & Support
विज्ञापन
विज्ञापन


फ्री टूल्स

विज्ञापन
विज्ञापन
विज्ञापन

Disclaimer

अपनी वेबसाइट पर हम डाटा संग्रह टूल्स, जैसे की कुकीज के माध्यम से आपकी जानकारी एकत्र करते हैं ताकि आपको बेहतर अनुभव प्रदान कर सकें, वेबसाइट के ट्रैफिक का विश्लेषण कर सकें, कॉन्टेंट व्यक्तिगत तरीके से पेश कर सकें और हमारे पार्टनर्स, जैसे की Google, और सोशल मीडिया साइट्स, जैसे की Facebook, के साथ लक्षित विज्ञापन पेश करने के लिए उपयोग कर सकें। साथ ही, अगर आप साइन-अप करते हैं, तो हम आपका ईमेल पता, फोन नंबर और अन्य विवरण पूरी तरह सुरक्षित तरीके से स्टोर करते हैं। आप कुकीज नीति पृष्ठ से अपनी कुकीज हटा सकते है और रजिस्टर्ड यूजर अपने प्रोफाइल पेज से अपना व्यक्तिगत डाटा हटा या एक्सपोर्ट कर सकते हैं। हमारी Cookies Policy, Privacy Policy और Terms and Conditions के बारे में पढ़ें और अपनी सहमति देने के लिए Agree पर क्लिक करें।

Agree
X