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जानिए पति पत्नी के बीच कलेश की वजह और उसे दूर करने के ज़रूरी उपाय

my jyotish expert Updated 18 Sep 2021 10:19 AM IST
husband wife angry at each other
husband wife angry at each other - फोटो : google
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कहा जाता है कि अगर वैवाहिक जीवन अच्छा हो तो जीवन स्वर्ग बनने लगता है और अगर इस में खराबी आ जाती है तो जीवन नर्क से भी बत्तर हो जाती है। पति - पत्नी के बीच में कभी-कभी बिना किसी कारण से भी इतनी कलेश होते हैं, इतनी मुश्किलें बढ़ जाती है, जिससे घर में हमेशा कलेश का माहौल बना रहता है। क्या कारण हो सकता है कि उनके बीच में इतना तनाव बढ़ जाता है, और इससे कैसे निकला जा सकता है? क्या कारण है कि कलेश का, और किन ग्रहों के कारण रिश्तो में दरार आ रही है? सुखी वैवाहिक जीवन के लिए क्या-क्या उपाय करना चाहिए? अगर कुंडली में अग्नि तत्व की मात्रा ज्यादा हो जाए पति या पत्नी की कुंडली में, जो अग्नि का इलाका है जो नवा दसवां और ग्यारहवां भाव है जिसे अग्नि का भाव कहते हैं। अगर यहां पर अग्नि तत्व की मात्रा ज्यादा हो जाए तो पति पत्नी के बीच कलेश बढ़ता है। अग्नि तत्व का मजबूत होना पति पत्नी के बीच में बहस कराने के लिए पर्याप्त होता है। शुक्र और बृहस्पति यह दोनों ग्रह वैवाहिक जीवन में सबसे बड़ी भूमिका निभाते हैं।

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अगर शुक्र या बृहस्पति कोई भी कमजोर हो जाता है कुंडली में, तो पति पत्नी के बीच में कलेश होता है। अगर जन्मकुंडली में शुक्र अशुभ स्थिति में है, जिसके कारण आपको न जाने कितनी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। हर काम में आपको असफलता का सामना करना पड़ता है। शुक्र के प्रभाव से जाने कितनी बीमारियों का भी सामना करना पड़ जाता है। जिससे आपके जीवन में हमेशा निराशा बनी रहती है। जीवन जिसके लिए आप नए-नए उपाय करते हैं कि आपका ग्रह सही हो जाए। शुक्र के कारण आपके जीवन में उतार-चढ़ाव आ रहे हैं तो आप कुछ ऐसे उपाय करें, जिससे आपके जीवन में सफलता मिले और साथ ही आपकी व्यवहारी  जीवन में खुशहाली शांति प्रेम बना रहेगा। अपने जीवनसाथी को कष्ट देने, फटे पुराने कपड़े पहनने, घर में गंदगी रखने से शुक्र अशुभ फल देते हैं। शुक्र ग्रह के दोष से बचने के लिए शुक्रवार के दिन सुबह जल्दी उठकर साफ सफाई करके स्नान करके मां लक्ष्मी की आराधना करें और उसके साथ ही इस मंत्र का जाप करें  "ऐं ह्रीं श्रीं अष्टलक्ष्मीयै ह्रीं सिद्धये मम गृहे आगच्छागच्छ नमः स्वाहा" ,108 बार जाप करने से आपको फायदा अवश्य मिलेगा। शुक्र दोष से निजात पाने के लिए भगवान शिव की आराधना भी करनी चाहिए। हर शुक्रवार शिवलिंग पर जल और दूध से अभिषेक करें। साथ ही "ॐ नमः शिवाय" का जाप 108 बार रुद्राक्ष की माला से भी करनी चाहिए।

शुक्रवार के दिन सुहाग की चीजें जैसे आलता,  काजल, चूड़ी, मेहंदी, बिंदी आदि का दान करने से आपके वैवाहिक जीवन में खुशहाली आएगी। जीवन में शांति मिलेगा। धन - धान्य से घर भरा रहेगा। गरीबों को भोजन कराने से आपके आर्थिक स्थिति में सुधार आएगा। शुक्र अगर बिगड़ जाए तो वैवाहिक जीवन निश्चित रूप से बिगड़ जाता है। कभी-कभी तो बात मुकदमे तक आ जाती है। मुकदमा की शुरुआत मंगल या केतु से होती है। शुक्र बृहस्पति गड़बड़ हो और उन्हें मंगल या केतु का साथ मिल जाए तो, निश्चित रूप से वैवाहिक जीवन में दिक्कत आनी शुरू हो जाती है। क्योंकि मंगल या केतु मामले को और ज्यादा उग्र बना देते हैं जिससे मुकदमेंबाजी शुरू हो जाती है। छोटी-छोटी बातों से मामले बहुत बढ़ जाता हैं। कुंडली का अष्टम भाव को जो पति-पत्नी के आपसी संबंधों का खाना है। अगर वहां पाप ग्रह हो जैसे राहु, चंद्रमा, केतु तो भी पति पत्नी के बीच में बेवजह के झगड़े होते हैं। कभी-कभी यह भी होता है कि शयन कक्ष का रंग ठीक ना होने से भी झगड़ा बढ़ता है। उनके बीच तालमेल बैठाने में समस्या होती है। अगर शयनकक्ष में गड़बड़ी हो आप जैसे - आपके शयनकक्ष में देवी देवताओं की फोटो लगा रखी हो या ईशान कोण में गड़बड़ी हो यानी पूरब उत्तर के घर के कोने में गड़बड़ी हो, ऐसी दशा में भी बहुत बार झगड़े बढ़ने की संभावना बढ़ जाती है।

जानिए इससे बचने के लिए क्या उपाय करें।
  पति को शुक्र के वैदिक मंत्र का जाप करना चाहिए। " ॐ शुं शुक्राय नम:"108 बार जाप करने से लाभ मिलेगा। पत्नी बृहस्पति के मंत्र का जाप करें । "ॐ बृं बृहस्पतये नमः" का 108 बार जाप करें। अपने शयनकक्ष में गुलाबी, धानी, क्रीम या सफेद रंग का प्रयोग करें। बहुत अच्छा होगा। साथ में पति पत्नी का चित्र पूर्व या उत्तर की दीवार पर लगाएं और साफ-सफाई घर में बनाए रखें। ऐसा करने से दोनों में संबंध मजबूत होते हैं। और पति पत्नी को शुक्रवार को एक साथ सफेद मीठी चीज खानी चाहिए। घर के आगे या मध्य में तुलसी का पौधा लगाएं। इससे घर की शांति बनी रहती है।


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