राशि अनुसार नाम- बच्चे का नाम रखतें समय किन बातों का रखें ध्यान?
नाम एक व्यक्ति की पहचान है जो पूरा जीवन उसके साथ चलती है। नाम अच्छा हो तो जीवन में कई कार्य अपने आप बनते चले जाते है। साथ ही सामने वाले व्यक्ति पर भी अच्छा प्रभाव पड़ता है। इसलिए नाम बड़े ही सोच विचार करने के बाद रखना चाहिये। यदि सही नाम नही रखा जाता है तो उस व्यक्ति को अपने जीवन में कईं परेशानियों का सामना करना पड़ता है। सुनने वाले को भी अजीब लगता है। साथ ही जीवन पर भी काफी असर पड़ता है।
जब घर में बच्चा पैदा होता है तो पंडितों से पूछा जाता है कि किस राशि के अक्षर से बच्चे का नाम रखा जायेगा। क्योंकि नाम का खेल भाग्य और ग्रह नक्षेत्रों से जुड़ा होता है। बच्चा किस घड़ी किस नक्षेत्र में पैदा हुआ है उससे उसकी राशि तय होती है। फिर राशि के अनुसार बच्चे के नाम के अक्षर बताये जाते है। उन अक्षरों में से किसी एक अक्षर पर बच्चे का नाम रखा जाता है। इस नाम का संबंध होता है बच्चे के भाग्य के साथ। उसका भविष्य कैसा रहेगा यह उसका नाम तय करता है। यदि आप अपने बच्चे का अच्छा नाम रखते है तो उसको जीवन में खुशी और सफलता मिलती है। वही यदि बच्चे का अर्थहीन नाम रखा जाता है तो बच्चे का जीवन भी कठिनाइयों से लड़ने में ही व्यर्थ निकल जाता है। जीवन में हमेशा मुश्किले बनी रहती है। आप भी अपने बच्चों का नाम रखते वक्त कुछ बाते ध्यान में रखें।
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जब बात आती है नाम रखने की तो जिस नाम से आपके बच्चे को पुकारा जाये, उसे बच्चे की कुंडली में जो सबसे मजबूत ग्रह है उसके अनुसार रखे। उदहारण के तौर पर देखे की आपकी कुंडली का सबसे प्रबल ग्रह शनि है, तो नाम S या G से रखें। इससे जीवन में विशेष फल मिलते है। वही यदि आपका शनि खराब है और राशि कुंभ है उसके बाद भी नाम S से रखते है तो जीवन में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। इसी कारण कहा जाता है कि बच्चे का नाम कुंडली के सबसे मजबूत ग्रह के अनुसार रखें।
अक्सर लोग राशि के अनुसार नाम में या नाम के अक्षरों में छोटे छोटे बदलाव करते रहते है। जिससे जीवन में सफलता मिलती रहे। लेकिन बात होती है, सही समय पर बदलाव करने की। यदि आप अपने नाम की स्पेलिंग में बदलाव करते है तो उसके लिए सबसे सही उम्र होती है 12 साल तक कि उम्र। जब बच्चा 12 साल का हो जब तक उसके नाम की स्पेलिंग में जो बदलाव करना है वो कर ले क्योंकि 12 साल की उम्र के बाद ऐसा करने से कुछ खास परिणाम नही मिलते हैं। यदि आप चाहे तो 30 वर्ष की आयु तक यह बदलाव अपने नाम में ला सकते है। लेकिन याद रहे 30 वर्ष की आयु के बाद स्पेलिंग बदलने से कोई ख़ास लाभ नही मिलेगा। यदि आप इस उम्र के बाद नाम में बदलाव का सोच रहे है, तो पूरा ही नाम बदल लें। जैसे कि वरुण का अरुण कर ले। इससे आपको अच्छे परिणाम मिलेंगे।
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अपने बच्चों का ऐसा नाम रखे, जिनका कोई अर्थ हो। फिलहाल के समय में लोग अपने बच्चों के ऐसे-ऐसे नाम रख रहे है जिनका कोई अर्थ नही निकलता है। जैसे कि माता-पिता के नाम के शुरू के या अंत के अक्षर मिला कर बच्चों का नाम रख देते है। ऐसे बिना अर्थ वाले नाम रखने से बच्चों का जीवन भी निरर्थक बन जाता हैं।
ज्यादा छोटे नाम भी जीवन में खास मदद नही करते है। ऐसे नाम रखे जो बड़े हो और उनका अच्छा अर्थ भी हो। ऐसे नाम रखने से जीवन सुंदर हो जाता है।
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