कई बार विचित्र किस्म के सपने आते हैं जिनका वर्तमान परिवेश से तालमेल बैठाना मुश्किल होता है। एकाग्र होकर, सपनों की स्पष्ट समझ के साथ, गहराई से विश्लेषण करें तो उनके संकेत और परिणामों को जानने में सफलता मिल सकती है।
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आज हर आंखों का सपना है धन। और बात यदि धन के सपनों की करें तो स्वाभाविक जिज्ञासा होगी कि आखिर उन सपनों के संकेत क्या होते हैं। धन के सपनों में प्रमुख रूप से जल, सफेद रंग, फूल, फल, पशु, अनाज, पात्र और देवी-देवता का महत्व है।
जल
जल अर्थात् पानी का धन-दौलत से बहुत करीब का संबंध माना गया है। दोनों ही समान गुणधर्मी होते हैं। दोनों की प्रकृति है बहना। यदि कद्र न की जाए, सहेज कर न रखा जाए तो दोनों बह जाते हैं।
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कई बार विचित्र किस्म के सपने आते हैं जिनका वर्तमान परिवेश से तालमेल बैठाना मुश्किल होता है। एकाग्र होकर, सपनों की स्पष्ट समझ के साथ, गहराई से विश्लेषण करें तो उनके संकेत और परिणामों को जानने में सफलता मिल सकती है।
इसलिए सपने में वर्षा होती दिखे। व्यक्ति स्वयं कुएँ से पानी भरे तो यथाशीघ्र धन लाभ की संभावना है। सपने में तैरना मात्र ही असीमित धन-आगमन का सूचक है। सपने में नदी अथवा समुद्र-दर्शन भी अकस्मात धन प्राप्ति का संकेत है।
सफेद रंग
स्वप्न विज्ञानियों की मान्यता है कि सपने में सफेद रंग का विशेष महत्व होता है। इस रंग को सुख-समृद्धि, शांति एवं सौजन्य का प्रतीक माना गया है। इसलिए सपने में सफेद वस्त्र देखना, सफेद वस्त्र धारण करना, श्वेत फूलों की माला देखना, सफेद बर्फ से ढंका पर्वत देखना, सफेद समुद्र, सफेद मंदिर का शिखर, सफेद ध्वजा, शंख और श्वेत सूर्य-चंद्र आदि समृद्धि एवं प्रचुर मात्रा में धनागमन का संकेत हैं।
फल
स्वप्नशास्त्री के. मिलर के अनुसार सपने में स्वयं के हाथों में फल टपके, फल वाले वृक्षों का दर्शन करें, आंवला, अनार, सेब, नारियल, सुपारी एवं काजू आदि को देखें तो धन आने की प्रबल संभावना है। फल का सेवन अलग-अलग स्वप्न विशेषज्ञों की राय में शुभ-अशुभ दोनों माना गया है जबकि केले के संबंध में अधिकांश विशेषज्ञ एकमत हैं कि वह अशुभ है और कई मामलों में मृत्युसूचक या मृत्युतुल्य कष्टसूचक भी।
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फूल
सफेद कमल, लाल कमल, केतकी, मालती, नागकेसर, चमेली, चांदनी एवं गुलमोहर के फूल सपने में देखने वाला निश्चित ही भविष्य में अपार धन-संपत्ति का स्वामी बनता है।
पशु
पशुओं का सपने में दिखाई पडऩा भी विशेष रूप से धनागमन का संकेत माना गया है। मस्त हाथी, गाय, अश्व, बैल, बिच्छू, बड़ी मछली, श्वेत सर्प, बंदर कछुआ एवं कस्तूरी मृग जहां अचानक विशेष धन प्राप्ति के प्रतीक माने गए हैं।
वहीं मधुमक्खी के विषय में कहा गया है कि इसका स्वप्न देखने वाले व्यक्ति का बैंक के खाते में दिन दूना, रात चौगुना धन बढ़ता है। जबकि सपने में चूहे देखने वाले व्यक्ति का बैंक में छोटा-मोटा खाता खुलना तय है।
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अनाज
सपने में व्यक्ति अनाज के ढेर पर स्वयं को चढ़ता देखे और उसी समय उसकी नींद खुल जाए तो धन लाभ, निश्चित समझे। उसी तरह चावल, मूंग, जौ, सरसों आदि भी धन प्राप्ति का संकेत देते हैं।
पात्र
कलश, पानी से भरा घड़ा और बड़े पात्रों को धन आगमन का सुनिश्चित प्रतीक माना गया है। एक सपने के विषय में दुनिया भर के स्वप्नशास्त्री एकमत है। उनके अनुसार मिट्टी का पात्र देखना सर्वश्रेष्ठ होता है। ऐसे व्यक्ति को शीघ्र ही अपार धन संपदा की प्राप्ति होती है। साथ ही भूमि लाभ भी मिलता है।
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दैवीय प्रतीक
भारतीय स्वप्न विशेषज्ञों के अनुसार सपने में पितृ अथवा दिवंगत पूर्वजों का दर्शन एवं उनके आशीर्वाद विशेष सफलतादायक है। मंदिर, शंख, गुरु, शिवलिंग, दीपक, घंटी, द्वार, राजा, रथ, पालकी, उजला आकाश एवं पूनम का चंद्र आदि भी विशेष समृद्धिदायक एवं भाग्योदय का प्रतीक माने गए हैं।
उपरोक्त समस्त संकेत हैं धनागमन के, किंतु कर्म, प्रयास और परिश्रम न किए जाएं तो सपने फिर सपने होते हैं। सपने कब अपने होते हैं।
इन संकेतों से प्रेरणा लेकर अपने कार्यों की रूपरेखा तैयार करना तो ठीक है किंतु उनके भरोसे बस हाथ पर हाथ धरे सपना साकार होने का इंतजार करना नादानी है।
सच तो यह है कि सुरमई अंखियों में सजा नन्हा-मुन्ना सपना अपना हो तो जाएगा लेकिन इसके लिए थोड़ा तपना पड़ेगा। इस तपने में ही सपने का असली अर्थ छिपा है।
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