माँ बगलामुखी से जुड़े प्रभावशाली मंत्र
देवी बगलामुखी दस महाविद्याओं में से आठवीं महाविद्या है. माता बगलामुखी की उपासना से शत्रुनाश, वाकसिद्धि, वाद-विवाद में विजय प्राप्त होती है. मां बगलामुखी के मंत्र साधक की समस्त मनोकानाओं की पूर्ति कर सकते हैं. शत्रुओं पर विजय प्राति, शत्रु भय से मुक्ति तथा प्रभावशाली वाक-शक्ति की प्राप्ति के लिए मां बगलामुखी की साधना की जाती है. देवी बगलामुखी दस महाविद्याओं में से आठवीं महाविद्या है. माता बगलामुखी की उपासना से शत्रुनाश, वाकसिद्धि, वाद-विवाद में विजय प्रदान करती है. बगलामुखी मंत्र सभी प्रकार की बाधाओं से मुक्ति दिलाते है, रोगों की पुरानी समस्याओं और दुर्घटनाओं से सुरक्षा प्रदान करते है और संरक्षण देते है। ऐसा कहा जाता है की बगलामुखी मंत्र के नियमित जप से अहंकार नष्ट होता है और शत्रुओं का नाश होता है.
जन्मकुंडली ज्योतिषीय क्षेत्रों में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है
एकाग्रता हेतु मंत्र
मंत्र- “जिह्वाग्रमादाय करेण देवीं, वामेन शत्रून् परि-पीडयन्तीम् ।
गदाभिघातेन च दक्षिणेन, पीताम्बराढ्यां द्विभुजां नमामि ।।”
दरिद्रता नाश हेतु मंत्र
मंत्र- “श्री हृीं ऐं भगवती बगले मे श्रियं देहि-देहि स्वाहा।।”
भय नाशक मंत्र
मंत्र- “ॐ ह्लीं ह्लीं ह्लीं बगले सर्व भयं हन।।”
शत्रुनाशक माँ बगलामुखी मंत्र
मंत्र- “ॐ बगलामुखी देव्यै ह्लीं ह्रीं क्लीं शत्रु नाशं कुरु।।”
परीक्षा सफलता प्राप्ति मंत्र
मंत्र- “ॐ ह्रीं ह्रीं ह्रीं बगामुखी देव्यै ह्लीं साफल्यं देहि देहि स्वाहा:।।”
बगलामुखी जयंती पर शत्रुओं पर विजय व धन की समस्या से छुटकारा पाने हेतु कराएं सामूहिक 36000 मंत्रों का जाप
बाधानाशक मंत्र
मंत्र- “ॐ ह्लीं श्रीं ह्लीं पीताम्बरे तंत्र बाधाम नाशय नाशय।।”
आयुष्य हेतु मंत्र
मंत्र- ॐ ह्लीं ह्लीं ह्लीं ब्रह्मविद्या स्वरूपिणी स्वाहा:
शत्रु को स्तंभित करने का मंत्र
मंत्र- “ऊँ ह्रीं बगलामुखि सर्व दुष्टानां वाचं मुखं पदं स्तम्भय जिह्वां कीलय बुद्धिं विनाशय हृीं ऊँ स्वाहा।।”
देवी सभी सृष्टि की जननी हैं, इस ब्रह्मांड में विभिन्न कार्यों को पूरा करने के लिए देवी माँ ने हजारों रूपों में प्रकट लिए हैं. देवी भूत, वर्तमान और भविष्य तीनों काल का प्रतिनिधित्व करती हैं. माता राक्षसों का नाश करने और पवित्र लोगों की रक्षा करती है. वह उन जगहों पर रहती है जहां उनके नाम का जाप भक्ति और विश्वास के साथ किया जाता है. देवी मंत्र हमारे जीवन को
सुरक्षित करने के लिए मां दुर्गा का आशीर्वाद पाने के लिए शक्तिशाली उपाय मंत्र जप हैं.
देवी मंत्र का जाप करने का सही समय आपकी सुविधा के अनुसार सुबह, दोपहर और शाम का हो सकता है.
दिन के दो समय नामजप की शक्ति को बढ़ाने के लिए शुभदायक होता है, स्नान करने के पश्चात पीले वस्त्र धारण करने चाहिए.
घर में सकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाता है. परिवार के सभी लोगों के जीवन में खुशी और सफलता मिलती है. बुरी ऊर्जाओं को दूर करता है और घर के समग्र विकास के लिए सभी रूपों में शुभता को बढ़ावा देता है. मार्ग में आने वाली बाधाओं को दूर करता है और सफलता दिलाता है.
मंत्र जाप के लाभों को अधिकतम करने के लिए देवी चित्र के सामने बैठकर अराधना करनी चाहिए. हल्दी की माला या रुद्राक्ष का प्रयोग करना शुभ होता है. मंत्र जाप सभी प्रकार के भय और मानसिक कष्टों को दूर करता है और व्यक्ति को जीवन में सही निर्णय लेने में सक्षम बनाता है. शत्रुओं और बुरी आत्माओं के भय को दूर करता है. घर और परिवार के सदस्यों के जीवन में समग्र शांति और समृद्धि को बढ़ावा देता है.
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