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यदि आप भी सफलता को लेकर चिंतित हैं तो जानिए पढ़ाई के नौकरी या व्यापार, किस में मिलेगी सफलता

sonam Rathore my jyotish expert Updated Wed, 15 Sep 2021 12:22 PM IST
career afteer studies
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1. यदि लग्न सप्तम दशम भाव का कार्येश हो तब जातक को कारोबार के द्वारा धनार्जन प्राप्त होगा और यदि षष्ठ या दशम भाव का कार्येश होगा तो जातक को नौकरी से धन अर्जित होगा 

2. तृतीय भाव का कार्येश हो तब जातक लेखन , छपाई , एजेंसी, कमिंसन एजेंट , रिपोर्टर , सेल्समैन सस्थानों से धन अर्जित कर सकता है यानि की जातक इस क्षेत्र में अपनी करियर की शुरुवात कर सकता है 

3. यदि द्वितीय या पंचम का कार्येश हो तो जातक जमीन , बगीचे , वाहन , शिक्षण संस्थान आदि से धन को अर्जित करेगा इसके अलावा सिनेमा हॉल , नाटक , ढोल , गीत , संगीत , जुआ, मंत्र , तंत्र , पैरोहित्य कार्य आदि से धन को अर्जित कर सकता है

4.  यदि द्वितीय और सप्तम का कार्येष हो तो व्यक्ति व्यवाहिक मंडल, पार्टनरशिप ,या कानूनी सलाहकार के कार्य से धन को अर्जित करेगा 

5. यदि दशम भाव में एक से अधिक ग्रह विराजमान हो तो उसमें से जो ग्रह अधिक बलवान होगा जातक उसी के अनुसार व्यापार करेगा जैसे दशम भाव में मंगल बलवान हैं तो जातक प्रापर्टी , निवेश आदि का व्यवसाय या फिर सेना या पुलिस में कार्य करेगा 

6. यदि दशम भाव में कोइ ग्रह विराजमान नही हैं तो दशमेश यानि दशम भाव के स्वामी के अनुसार व्यापार ही आपके लिए उचित रहेगा , दशम भाव में जब शुक्र ग्रह विराजमान हो तो जातक को कास्मेटिक सौंदर्य प्रसाधन जैसी व्यापार से लाभ होता है और यदि दशम भाव के साथ कोई अन्य ग्रह हो तो जातक के लिए व्यापार करना ही सबसे उचित रहेगा

7. सूर्य के साथ गुरु हो तो व्यक्ति होटल व्यवसाव अनाज आदि के कार्यों से धन को अर्जित करता है एकादश भाव आय का स्थान है ऐसे में एकादश भाव में स्थित ग्रह के अनुसार व्यापार तय होता हैं 

8. जब जन्म कुंडली में कोई ग्रह लग्नेश , पंचमेश , नवमेश होकर दशम भाव में स्थित हो या दशमेश होकर किसी भी त्रिकोण ( 1, 9, 5 भावों ) या अपने ही स्थान में स्थित हो तब व्यक्ति के पास आजीविका के प्रयाप्त साधन होते हैं वह व्यवसाय और नौकरी में उन्नति करता है दशम या दशमेश भावस्थ ग्रह का बल और शुभता दोनों उसके शुभ फलों में वृद्धि करते हैं 

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