आध्यात्मिक गुरु नेहा श्री विश्वविख्यात वैदिक ज्योतिषाचार्य एवं नाड़ी विदुषी हैं। वैदिक ज्योतिष के क्षेत्र में नेहा श्री ने अपने परिवार की परंपरा को आगे बढ़ाते हुए युवावस्था में ही ज्योतिषीय ज्ञान प्राप्त कर लिया था। अपनी आध्यात्मिक क्षुधा को शांत करने के लिए नेहा श्री ने विभिन्न गुरुओं के माध्यम से ज्योतिष की विभिन्न प्रणालियों को सीखा तथा अपने गुरुओं की विशेष कृपा प्राप्त की। नेहा श्री ज्योतिषीय विवेचना में पाराशरी पद्धति, जैमिनी विधि तथा नाड़ी ज्योतिष की विशेषज्ञा हैं।
1996 से नेहा श्री फलित की अनेक विधाओं पर शोध कर रही हैं, जिसमें हस्त लेखन से व्यक्तित्व विवेचना, टैरो के माध्यम से प्रश्नों के उत्तर, हस्तरेखा द्वारा भविष्य कथन, वैदिक, कीरो तथा पाइथो अंकशास्त्र, फेंगशुई के माध्यम से ऊर्जा का संतुलन विशेष हैं।
शिक्षा में प्रारम्भ से ही नेहा श्री अच्छी रही हैं। उन्होंने अंग्रेजी में परास्नातक, बी.एड. और अंग्रेजी में एम.फिल किया है। अनेक वर्षों तक शिक्षा के क्षेत्र में योगदान देने के पश्चात् अपने आध्यात्मिक रुझान के कारण ज्योतिष के माध्यम से समाज कल्याण की भावना से ज्योतिष के क्षेत्र को व्यवसाय के रूप में अपनाया।
नेहा श्री ने अनेकों बार ज्योतिष जगत की विभिन्न संस्थाओं तथा अनेकों गुरुओं द्वारा विशिष्ट सम्मान प्राप्त किये हैं। कर्म सिद्धान्त को अटल मानने वाली नेहा श्री देश-विदेश में अनेकों लोगों का ज्योतिष के माध्यम से मार्गदर्शन व सहायता करती हैं। नेहा श्री का मानना है कि आस्था व सत्कर्मों के द्वारा भाग्य को सबल किया जा सकता है।